Sunday, January 2, 2022

RRB NTPC Railway previous year Questions 28/12/2020 First Shift and Second Shift

 

RRB NTPC Railway previous year Questions 28/12/2020 First Shift and Second Shift

 

·        खालसा पंथ की स्थापना गुरू गोविंद सिंह जी ने की थी।

·        इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस का मुख्यालय हेग में है।

·        काई सहजीवी सम्बंध दर्शाता है।

·        पिनाका DRDO द्वारा विकसित मल्टी-बैरल रॉकेट सिस्टम है।

·        केन्द्रीय आलू संस्थान शिमला में स्थित है।

·        मालद्वीव BIMSTEC का सदस्य नही है।

·        भारत के सबसे युवा राष्ट्रपति नीलम संजीव रेड्डी है।

·        55वां ज्ञानपीठ पुरस्कार अकित्तम अच्युत्तम नम्बूदरी जी को प्रदान किया गया।

·        Coal India Limited एक महारत्न कम्पनी है.

·        विजया बैंक और देना बैंक का विलय बैंक ऑफ बडौदा में किया गया था।

·        गोबी मरूस्थल एशिया में स्थित मरूस्थल है।

·        भारत में सन् 1986 में भारतीय संसद द्वारा पर्यावरण संरक्षण अधिनियम पारित किया गया।

·        पट्टचित्र शैली उङीसा की प्रमुख शैली है।

·        UBANTU एक आपरेटिंग सिस्टम है।

·        इसरो ने वर्ष 2013 में मार्स आर्बिटर मिशन की शुरूआत की।

·        जोजिला दर्रा श्रीनगर को लेह से जोङता है।

·        बुलंद दरवाजा फतेहपुर सीकरी में है।

·        कुडनकुलम नाभिकीय परियोजना तमिलनाडु में स्थित है।

·        प्रार्थना समाज की स्थापना आत्माराम पांडुरंग ने की।

·        पराग्वे और बोलीविया दक्षिण अमेरिकी दो स्थलरूद्ध देश है।

·        दांडी गुजरात के नवसारी जिले में स्थित है।

·        वंदे भारत एक्सप्रेस नई दिल्ली और वाराणसी जंक्शन के बीच चलने वाली भारत की सुपरफास्ट ट्रेन है।

·        बॉयल के नियमानुसार, स्थिर तापमान पर गैस का आयतन दाब के व्युत्क्रमानुपाती होता है।

·        लिचेन एक ऐसा जीव है जो वायु प्रदूषण की चेतावनी देता है।

·        राष्ट्रीय आय की गणना का प्रथम प्रयास दादाभाई नौरोजी ने किया।

·        साहित्य अकादमी का मुख्यालय नई दिल्ली में स्थित है।

·        मोपला विद्रोह सन् 1921-22 में केरल में हुआ था।

·        ग्रैमी पुरस्कार संगीत के क्षेत्र में दिया जाता है।

·        शिव प्रसाद शर्मा संतूर वादक है।

·        गोल गुम्बद कर्नाटक में स्थित है।

·        एनएसपी = जीएनपी मूल्यह्रास

·        विधानपरिषद् वर्तमान में 6 राज्यो में है ये 6 राज्य आन्ध्र प्रदेश, बिहार, कर्नाटक, महाराष्ट्र, तेलंगाना, उत्तर प्रदेश है।

·        संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् का मुख्यालय न्यूयार्क शहर में स्थित है।

·        टैक्सोनॉमी का जनक कार्ल लिनियस को माना जाता है।

·        भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र मुंबई में स्थित है।

·        49वीं समांतर रेखा यूएसए व कनाडा के मध्य सीमा बनाती है।

·        APPLE पहला भारतीय संचार उपग्रह था।

·        ग्लोबल क्लाइमेंट चेंज एलायंस यूरोपीय संघ का कार्यक्रम है।

·        सूर्य को चमकती हुई सतह को कोरोना कहते है।

·        आस्ट्रेलिया मे पांच बार कॉमनवेल्थ गेम की मेजबानी की है।

·        येन जापान की मुद्रा है।

·        NIU = Network Interface Unit

·        JSS का संचालन कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय द्वारा किया जाता है।

·        द्व्यमान एक अदिश राशि है।

·        जो तिरंगा झण्डा स्टुटगार्ड में फहराया गया था उसे चोरी छिपे ब्रिटिश भारत में इंदुलाल याग्निक लाये थें।

·        भारत की संविधान सभा का विचार पहली बार एम.एन रॉय ने दिया था।

·        लार्ड चेम्सफोर्ड जलियांवाला बाग हत्याकांड के समय गर्वनर जनरल थे।

·        बङी आंत परिसंचरण तंत्र का हिस्सा नही है।

·        टिहरी हाइड्रोपॉवर कॉम्पलेक्स उत्तराखंड में स्थित है।

·        भारतीय संविधान में मौलिक कर्तव्य 42वें संविधान संशोधन से जोङे गये थें.

·        इन्द्रधनुष फ्रेमवर्क सार्वजनिक क्षेत्र के बैंको के पुनरूद्धार के लिए एक योजना है।

·        1969 में भारत का पहला एटॉमिक पॉवर स्टेशन चालू किया गया था।

·        सेब से सम्बंधित रोग को फॉयर ब्लाइट कहते है।

 

 

                   

Tuesday, July 27, 2021

Bhagat Singh Biography in Hindi- वह कहानी जिसने हजारो युवाओ को देश पर कुर्बान होने के लिए प्रेरित किया-

 भगत सिंह का जन्म 28 सितंबर 1907 को पंजाब के लायलपुर के बंगा गांव में हुआ था। इत्तेफाक की बात यह थी कि भगत सिंह के जन्म के समय पिता के किशन सिंह व चाचा अजीत सिंह जेल से छूटकर घर आए थे , और बड़े भाई का नाम जगत सिंह होने के कारण इनका नाम भगत सिंह रखा गया।


 भगत सिंह का परिवार पीढ़ियों से स्वतंत्रता के लिए प्रयत्नरत था । दादा अर्जुन सिंह , पिता किशन सिंह व चाचा अजीत सिंह व स्वर्ण सिंह ने देश की स्वतंत्रता के लिए अनेकों प्रयास कियें व अनेंको क्रांतिकारी गतिविधियों में शामिल रहे ।


 स्वर्ण सिंह (भगत सिंह के चाचा) को झूठे आरोपों में फंसा कर अंग्रेजों ने जेल में डाल दिया ।
गंदा खाना व अन्य वजहों सें जेल में उन्हें तपेदिक हो गया और 23 वर्ष की आयु में 1910 ईस्वी में सरदार स्वर्ण सिंह देश के लिए शहीद हो गए।


चाचा अजीत सिंह कें क्रांतिकारी गतिविधियों में शामिल होने के कारण अंग्रेजों ने उन्हें अपने षडयंत्र में फंसाने के लिए योजना बनाई परंतु इस योजना के सफल होने से पहले ही सरदार अजीतसिंह देश को छोड़ कर चले गए ।
जब भगत सिंह ने कहा बंदूक है बो रहा हूं।


भगत सिंह की उम्र जब ढाई 3 वर्ष की थी तब खेतों में बाघ लग रहा था सरदार किशन सिंह अपने मित्र मेहता नंदकिशोर को बाग़ दिखाने लायक भगत सिंह मूवी छोड़ के खेत में जितने के रोने लगे पिता किशन सिंह ने पूछा क्या कर रहे हो भगत सिंह मंजू के बोल रहा हूं भगत सिंह का जवाब था। महज 3 वर्ष में ही भगत सिंह को या एहसास हो गया कि अंग्रेजों को भगाने के लिए बंदूकों की अति आवश्यकता है।


5 वर्ष की उम्र तक भगत सिंह पचासों किताबें पढ़ चुके थे।


भगत सिंह की प्रारंभिक शिक्षा गांव में ही हुई थी , भगत सिंह अपने साथ पहने वाले बच्चों में से सबसे आगे थे ।
 जब वह चौथी कक्षा में थे तो घर में रखी अजीत सिंह ,लाला हरदयाल और सुफी अम्बा प्रसाद की लिखी छोटी-छोटी पचासों पुस्तकें पढ़ डाली थी।


युवावस्था में खाली समय में वह पुस्तकालय में जाकर पुस्तकें पढ़ा करतें थें ।
 उन्होंने फ्रांसीसी क्रांति , रूसी क्रांति को बहुत अच्छे से अध्ययन किया था। उन्हें भारतीय इतिहास में व विदेशी इतिहास के बारे में बहुत ही अच्छा ज्ञान था।


 शादी से बचकर में कानपुर भाग गए थे दादी जयकौर चाहती थी कि भगत सिंह दूल्हा बने व किशन सिंह भी यही चाहते थे ।

पिता किशन सिंह को मां की इच्छा का पालन करना था, मन्नावाला गांव का एक धनी व्यक्ति तेज सिंह मान अपनी बहन के लिए भगत सिंह को देखने आया। भगत सिंह उन्हें पसंद आ गए व सगाई की तारीख तय कर दी गई ।
सगाई के कुछ दिन पहले भगत सिंह अपने पिता के नाम खत छोड़कर कानपुर चले गए।शुरुआत में वह कानपुर के मन्नीलाल जी अवस्थी के घर पर रुके। उस वक्त कानपुर के क्रांतिकारी नेता सुरेश चंद्र भट्टाचार्य थे।
 वहीं पर भगत सिंह की मुलाकात श्री बटुकेश्वर दत्त जी से हुई।

 जब 12 वर्ष की उम्र में पैदल चलकर जलियांवाला बाग गए और शहीदों को नमन किया


 13 अप्रैल 1919 के दिन सत्यपाल और सैफुद्दीन किचलू की गिरफ्तारी के विरोध में एक सभा आयोजित की गई थी। जिस पर जनरल डायर ने गोलियां चलवा दी . जिसमें सैकड़ों बेगुनाह शहीद हुए थे .
भगत सिंह स्कूल जाने के बजाय सीधा अमृतसर पहुंचे ।


 शहर में अकारण ही किसी को गोली मार दी जाती थी ऐसा डर का माहौल वहां पर स्थापित किया गया था ।
 उन्होंने शहीदों के खून से सनी हुई मिट्टी को माथे पर लगाया और उसे एक बोतल में भरकर अपने घर ले आए
उन्होंने वह शीशी अपनी बहन को दिखाई व वहां उस पर पुष्प चढ़ाए . पुष्प चढ़ाने का यह सिलसिला लंबे समय तक चलता रहा । असहयोग आंदोलन में भगत सिंह देश सेवा के लिए आंदोलन में कूद गए.

 जब गांधी जी ने असहयोग आंदोलन चालू किया तब यह लक्ष्य रखा गया कि आजादी 1 वर्ष के भीतर मिल जाएगी भगत सिंह खुशी से नाच-नाच कर कहा करते थे कि 1 वर्ष के भीतर आजादी आने वाली है।
 परंतु चौरी चोरा की घटना के बाद गांधी जी ने आंदोलन को वापस ले लिया क्योंकि उस घटना में 21-22 पुलिसकर्मियों को जिंदा जला दिया गया था . पुलिस ने चौरी चोरा में भीड़ पर तब तक गोलियां चलाई थी जब तक उनकी गोलियां खत्म नहीं हो गई थी।


 तब भीड़ नें पुलिसवालो को चौकी में बंद कर आग लगा दी थी । इसके पश्चात महात्मा गांधी ने असहयोग आंदोलन स्थगित कर दिया ।


उसके पश्चात भगत सिंह का अहिंसा सें मोहभंग हो गया और उन्होंने क्रांति का पथ अपनाया , जेल में भगत सिंह व उनके सहयोगी क्रांतिकारियों ने 114 दिन लंबी भूख हड़ताल की।


जेलों में राजनीतिक कैदियों के साथ में बहुत ही बुरा सलूक किया जाता था . उनको जानवरों से भी बदतर हालात झेलने पड़ते थे.


खाने-पीने की व्यवस्था बेहद खराब थी, भगत सिंह की कुछ मांगे इस प्रकार थी. 

  • अच्छा खाना,  खाने का स्तर यूरोपीय कैदियों जैसा होना चाहिए
  • सम्मान हीन कार्य को करनें के लिए बाध्य ना किया जाए ।
  • लिखने का सामान व अखबार मिले ।
  • स्नान की सुविधा व अच्छे कपड़े मिलें ।

 
 यतींद्रनाथ भगत सिंह व अन्य साथियों ने अपनी मांगों की पूर्ति के लिए भूख हड़ताल चालू की, अंग्रेजों ने इसे अपनी प्रतिष्ठा का विषय बना लिया . जितेंद्र नाथ जी की मृत्यु हड़ताल के 63 में दिन हुई तब सरकार झुकी व भगत सिंह और उनके साथियों की मांग को स्वीकार किया।


 भूख हड़ताल 14 जून 1929 से अक्टूबर 1929 के प्रथम सप्ताह तक चली ,114 दिन,114 दिन बाद 5 अक्टूबर 1929 को भूख हड़ताल समाप्त हुई ।


 भगत सिंह को तय समय से पहले फांसी की सजा क्यों हुई?


 भगत सिंह को लाहौर षड्यंत्र केस में फांसी की सजा सुनाई गई थी . फांसी के लिए 24 मार्च 1931 का दिन निर्धारित किया गया था परंतु देश में विरोध प्रदर्शन को देखते हुए भगत सिंह को 23 मार्च 1931 के शाम 7:00 बजे लाहौर के सेंट्रल जेल में फांसी की सजा दी गई थी।


 आमतौर पर फांसी की सजा सुबह के वक्त भी जाती है परंतु ब्रिटिश सरकार इतना घबराई हुई थी व उन पर इतना दबाव था कि फांसी की सजा एक दिन पहले ही दे दी गई।


गुपचुप तरीके से उनका शरीर बाहर ले जाकर अंतिम संस्कार किया जाने लगा परंतु गांव वालों को उसकी भनक लग गई, तब वहां से पुलिस भागी.


 तत्पश्चात गांव वालों ने दोबारा आदरपूर्वक भगत सिंह और उनके साथियों का अंतिम संस्कार किया ।
यह भारत भूमि धन्य है की इस पर भगत सिंह , राजगुरु , सुखदेव जैसे बेटो ने जन्म लिया है ।

Monday, June 21, 2021

United Nations International Organisations- Headquarter, President and Establishment year in Hindi

दुनिया ने बहुत बार ऐसी परिस्थिति महसूस की है जिसके बाद उन्होने महसूस किया कि सभी देशो को एक साथ एक मंच पर आना चाहिए जिसके लिए कई सारे संगठनो का निर्माण किया गया. द्वितीय विश्वयुद्ध के बाद विश्व में शांति के लिए कई सारे इंटरनेशनल संगठन बनाये गये जिनका उद्देश्य भिन्न-भिन्न उद्देश्यो की प्राप्ति करना था-

आइये इस पोस्ट के माध्यम से ऐसे ही संगठनो के बारे में जानने का प्रयास करते है और उनसे सम्बन्धित सारी जानकारी भी प्राप्त करते है-

INTERNATIONAL ORGANISATION

INFORMATION ABOUT ORGANISATIONS

1.      Asian Development Bank

स्थापना- 1966

 

मुख्यालय- मनीला

 

इस बैंक का मुख्य उद्देश्य एशिया में विकास करना व उसके लिए देशो को लोन की सुविधा उपलब्ध करवाना है।

इसके सदस्य देशो की संख्या 67 है।

 


2.      A.S.E.A.N (Association of South-East asian Nations)

आसियान का पूरा नाम- Association of South-East asian Nations है. इसके सदस्य़ देशो की संख्या 10 है।

आसियान की स्थापना इंडोनेशिया, मलेशिया, फिलीपीन्स, सिंगापुर व थाईलैंड नें मिलकर की थी।

आसियान के सदस्य देश इस प्रकार है- इंडोनेशिया, थाईलैंड, सिंगापुर, मलेशिया, फिलीपींस, वियतनाम, ब्रुनेई, म्यांमार, कोलंबिया व लाओस.

भारत इसका सदस्य नही है।

स्थापना- 1967

मुख्यालय- जकार्ता (इंडोनेशिया)

3.      BIMSTEC (Bay of Bengal Initiative for Multi-Cooperation)

स्थापना- 1997

 

मुख्यालय- ढाका (बांग्लादेश)

इसमें 7 सदस्य देश है जो इस प्रकार है- बांग्लादेश, भूटान, इंडिया, नेपाल, म्यांमार, थाईलैंड, श्रीलंका, अफगानिस्तान.

4.      SAARC (South Asian Association for Regional Cooperation)

स्थापना- 1985

 

मुख्यालय- कांठमांडू

 

सार्क के 8 सदस्य देश है। सार्क के सदस्य देश- भारत, पाकिस्तान,बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, श्रीलंका, मालद्वी व अफगानिस्तान है।

सार्क की पहली बैठक 1985 में ढाका में हुई थी।

5.      BRICS

स्थापना- 2006

 

मुख्यालय- शंघाई(चीन)

 

ब्रिक्स का पूरा नाम पांच देशो- ब्राजील, रूस, इंडिया, चीन व साउथ अफ्रीका से मिलकर बना है। साउथ अफ्रीका अंतिम देश है जो ब्रिक्स के साथ जुङा.

इसका प्रथम सम्मेलन रूस में येकेटरिनबर्ग शहर में हुआ था।

6.      NEW DEVELOPMENT BANK

स्थापना- 2014 में ब्रिक्स सदस्य देशो द्वारा की गयी, इसका मुख्यालय शंघाई (चीन) में है.

अध्यक्ष- K.V Kamath

 

7.      SCO (SHANGHAI COOPERATION ORGANISATION)

स्थापना- 2001

 

मुख्यालय- बीजिंग (चीन)

इसकी स्थापना चीन व रूस ने की थी।

8.      WORLD BANK

स्थापना- 1945

मुख्यालय- वाशिंगटन डी.सी

WORLD BANK का मुख्य कार्य विश्वभर में पूंजी के विनियम को प्रोत्साहन देना होता है.

वर्तमान अध्यक्ष- डेविस माल्पास

 

9.      IMF (INTERNATIONAL MONETARY FUND)

स्थापना- 1945

 

मुख्यालय- वाशिंगटन डी.सी

वर्तमान अध्यक्ष- Christne Lagarde

10.  WTO (WORLD TRADE ORGANISATION)

स्थापना- 1995

 

मुख्यालय- जेनेवा (स्विट्जरलैंड)

वर्तमान अध्यक्ष- Roberto Azevedo

 

11.  BANK OF INTERNATIONAL SETTLEMENT

स्थापना-1930

वर्तमान में इसमें 60 सदस्य है।

12.  EUROPIAN UNION

स्थापना- 1993

 

मुख्यालय- ब्रुशेल्स (बेल्जियम)

वर्तमान में इसमें 28 देश है, इंग्लैड यूरोपियन यूनियन को छोङ चुका है।

 

13.  NATO (North Atlantic Treaty Organisation)

स्थापना- 1949

 

मुख्यालय- ब्रुशेल्स (बेल्जियम)

नाटो में इस वक्त 28 सदस्य देश शामिल है।

14.  FOOD AGRICULTURE ORGANISTATION (संयुक्त राष्ट्र खाद्य और कृषि संगठन)

स्थापना- 1945

 

मुख्यालय- रोम (इटली)

इस संगठन का मुख्य कार्य विश्वभर में खाद्य सम्बंधी समस्याओ का निवारण करना है, इसका मुख्य कार्य पोषण-स्तर में सुधार लाकर जीवन स्तर में सुधार करना है।

15.  INTERNATIONAL COURT OF JUSTICE

स्थापना- 1945

 

मुख्यालय- हेग 

 

 

16.  AMNESTY INTERNATION

स्थापना- 1961

मुख्यालय- लंदन

17.  MTCR (Missile Technology Control Regime)

स्थापना- 1987

 

मुख्यालय- जापान

इसके सदस्य देशो की संख्या 35 है।

18.  IAEA (International Atomic energy Agency)

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मुख्यालय- वियना

इसके सदस्य देशो की संख्या 171 है।

19.  INTERNATIONAL SOLAR ALLIANCE

स्थापना- 2015

 

मुख्यालय- पेरिस

इसके सदस्य देशो की संख्या 122 है।

20.  OPCW (Organisation for the prohibition of Chemical Weapon)

स्थापना- 1997

 

मुख्यालय- हेग (नीदरलैंड)

 

रासायनिक हथियार निषेध संगठन का मुख्य कार्य रासायनिक हथियारो के निर्माण, विकास व भण्डारण पर रोक लगाना है। इसके सदस्य देशो की संख्या 193 है।

21.  UNICEF (United Nation Children’s fund)

स्थापना-1946

मुख्यालय- न्यूयार्क

वर्तमान अध्यक्ष- Henretta H.Fore

 

22.  CTBT (Comprehensive Nuclear-Test-Ban-Treaty)

स्थापना- 1996

CTBT का पूरा नाम व्यापक परमाणु परीक्षण प्रतिबंध संधि संगठन है। इसका मुख्य कार्य परमाणु हथियारो के प्रचार-प्रसार पर रोक लगाना है।

23.  WHO (WORLD HEALTH ORGANISATION)

स्थापना- 1948

 

मुख्यालय- जेनेवा (स्विट्जरलैंड)

WHO का मुख्य कार्य विश्वभर में स्वास्थ्य सम्बंधी समस्त गतिविधियो को देखना होता है, कोरोना महामारी के समय में WHO महामारी से निपटने के लिए दिशा-निर्देश जारी करता था.

 

24.  INTERNATIONAL LABOUR ORGANISATION

स्थापना- 1919

 

मुख्यालय- जेनेवा (स्विट्जरलैंड)

INTERNATIONAL LABOUR ORGANISATION का मुख्य कार्य श्रमिको की स्थिति में सुधार करना है जिसके लिए इस संगठन को वर्ष 1969 में नोबल शांति पुरस्कार भी मिल चुका है।

इसके सदस्य देशो की संख्या 187 है।

25.  OPEC (Organisation of the Petroleum Exporting Countries)

स्थापना-1960

 

मुख्यालय- वियना (आस्ट्रिया)

 

ओपेक उन देशो का एक संगठन है जो विश्वभर मे पेट्रोलियम का निर्यात करते है। ओपेक में सदस्य देश निम्न प्रकार है- सऊदी अरब, वेनेजुएला, कतर, लीबिया, अल्जीरिया,इराक, यू.ए.ई, नाइजीरिया, अंगोला और इक्वाडोर.

26.  UNESCO

स्थापना-1946

मुख्यालय- पेरिस

UNESCO का मुख्य कार्य विश्व भर में शांति स्थापित करना होता है व शिक्षा, विज्ञान और संस्कृति के क्षेत्र में योगदान करना व राष्ट्रो के बीच मैत्रीपूर्ण सम्बंध स्थापित करने की जिम्मेदारी UNESCO के कंधो पर होती है।

 

 

RRB NTPC Railway previous year Questions 28/12/2020 First Shift and Second Shift

  RRB NTPC Railway previous year Questions 28/12/2020 First Shift and Second Shift   ·         खालसा पंथ की स्थापना गुरू गोविंद सिंह जी...